Diwali 2022: दीपावली पर इंदौर में बिकेगी तीन करोड़ की मिठाई, डेढ़ करोड़ का नमकीन, दुबई-लंदन से भी मांग

पहले सोनपपड़ी सिर्फ देसी घी में बनती थी और लंब समय तक खराब भी नहीं होती थी। यह प्रीमियम श्रेणी की मिठाई थी। हुआ ये कि कुछ वर्षों में कई उत्पादकों ने शुद्ध घी की बजाय पाम तेल में सोन पपड़ी उतार दी।पैकिंग वाली ऐसी सोन पपड़ी के दाम भी कम हुए। इंटरनेट पर मजाक भी चलने लगे। इसा साल वर्षा का दौर भी देर तक चला। नमी वाले वातावरण में सोन पपड़ी खराब हो जाती है ऐसे में उसका निर्माण भी कम किया गया। लिहाजा अब प्रीमियम श्रेणी में सोन पपड़ी की बिक्री कमजोर है।

मीठे-नमकीन का हिसाब

 

शहर में दूध-मावे की मिठाइयां 400 से 600 रुपये किलो की दर से उपलब्ध है। जबकि सूखे मेवे की मिठाइयां 700 से 1400 रुपये तक के दाम पर।।मिठाई-नमकीन विक्रेता एसोसिएशन के अनुसार दीवाली पर 50 टन मिठाई बिकती है। 600 रुपये के औसत दाम के हिसाब से भी इंदौर में तीन करोड़ रुपये की मिठाई की बिक्री होगी। जबकि 75 से 80 टन नमकीन की खपत दीवाली पर होती है। नमकीन की बिक्री का आंकड़ा करीब डेढ़ करोड़ रुपये तक पहुंचता है।

विदेश पहुंची 1000 किलो मिठाई

 

दीवाली के खास मौके पर इंदौर की मिठाई का लुत्फ विदेश में बैठे लोग भी उठाएंगे।इंदौर के प्रमुख मिष्ठान संस्थानों से करीब 1000 किलो मिठाई विदेश भेजी जा रही है। श्री अग्रवाल स्वीट्स के संचालक मनीष अग्रवाल के इंदौर से सबसे ज्यादा मिठाई दुबई और लंदन के साथ सिंगापुर भेजी गई है।प्रवासी और अप्रवासी भारतीय जो मप्र और इंदौर से जुड़े हैं उन्होंनेे खुद या अपने रिश्तेदारों के जरिए मिठाई का आर्डर किया है। विदेश भेजी जा रही मिठाई छोटे पैकेट में मांग है। अब तक लगभग सभी आर्डर डिलीवर हो चुके हैं।

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